जो खुशबु की तरह दिल में उतर जाये ,मुहब्बत है ।
किसी के नाम से जब दिन संवर जाए, मुहब्बत है ।
लब खोले बिना आँखें , बयाँ कर जाए अफसाना ,
किसी की मुस्कुराहट पे जो मर जाएँ , मुहब्बत है ।
की जब कोई दवाई काम न , आये मुहब्बत में ,
किसी को देखके धडकन जो बढ़ जाये ,मुहब्बत है ।
उसे जो देख लें नजरें , बहारों को भी ना देखें ,
जिधर देखें हो वो ही वो नजर आये , मुहब्बत है ।
कुछ कहके भी ना कहना , बताना फिर छुपा लेना ,
उलझन जब भी ऐसी दिल में बढ़ जाये ,मुहब्बत है ।
निगाहों को गिरा देना , गिरा कर फिर उठा लेना ,
अदाएं जब किसी की दिल में गर जाये , मुहब्बत है ।
यही दस्तूर है दिल का , तराना है , फसाना है ,
मुकर जाये तो धोखा है , जो कर जाए मुहब्बत है ।
किसी के नाम से जब दिन संवर जाए, मुहब्बत है ।
लब खोले बिना आँखें , बयाँ कर जाए अफसाना ,
किसी की मुस्कुराहट पे जो मर जाएँ , मुहब्बत है ।
की जब कोई दवाई काम न , आये मुहब्बत में ,
किसी को देखके धडकन जो बढ़ जाये ,मुहब्बत है ।
उसे जो देख लें नजरें , बहारों को भी ना देखें ,
जिधर देखें हो वो ही वो नजर आये , मुहब्बत है ।
कुछ कहके भी ना कहना , बताना फिर छुपा लेना ,
उलझन जब भी ऐसी दिल में बढ़ जाये ,मुहब्बत है ।
निगाहों को गिरा देना , गिरा कर फिर उठा लेना ,
अदाएं जब किसी की दिल में गर जाये , मुहब्बत है ।
यही दस्तूर है दिल का , तराना है , फसाना है ,
मुकर जाये तो धोखा है , जो कर जाए मुहब्बत है ।
कुछ कहके भी ना कहना , बताना फिर छुपा लेना ,
ReplyDeleteउलझन जब भी ऐसी दिल में बढ़ जाये ,मुहब्बत है ।
क्या बात है ... हर शेर मुहब्बत का अंदाज़ दे रहा है .... मुहब्बत के करीब ला रहा है ... बहुत खूब ....
bhut bhut dhnyawad दिगम्बर नासवा ji
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